
तृणमूल कांग्रेस के राष्ट्रीय महासचिव अभिषेक बनर्जी।
कोलकाता: तृणमूल कांग्रेस ने पश्चिम बंगाल में चल रहे SIR के दौरान पार्टी कार्यकर्ताओं को पूरी तरह सतर्क रहने और बूथ लेवल ऑफिसर्स यानी कि BLO पर ‘निरंतर नजर’ रखने का निर्देश दिया है। पार्टी के राष्ट्रीय महासचिव अभिषेक बनर्जी ने कहा कि एक भी BLO को ‘एक मिनट के लिए भी अकेला’ नहीं छोड़ा जाना चाहिए। शुक्रवार को राज्य भर के करीब 18000 पार्टी पदाधिकारियों की बंद कमरे में वर्चुअल बैठक को संबोधित करते हुए अभिषेक बनर्जी ने आरोप लगाया कि बीजेपी SIR प्रक्रिया का इस्तेमाल करके ‘चुपके-चुपके’ आगामी चुनावों में धांधली की कोशिश कर रही है।
‘पार्टी के लिए अग्निपरीक्षा हैं अगले 6 महीने’
अगले 6 महीनों को पार्टी के लिए ‘अग्निपरीक्षा’ बताते हुए उन्होंने दावा किया कि 27 अक्टूबर को घोषित मतदाता सूची संशोधन बीजेपी के इशारे पर किया जा रहा है, ताकि 2026 के विधानसभा चुनाव से पहले लिस्ट में हेरफेर किया जा सके। बनर्जी के हवाले से पार्टी सूत्रों ने बताया, ‘बीजेपी का मकसद घुसपैठियों की पहचान करना नहीं है। अगर ऐसा होता तो असम, मेघालय या त्रिपुरा में भी यही अभियान चलाते। यह एक राजनीतिक ऑपरेशन है, जिसका मकसद असली मतदाताओं के नाम काटना है। इसलिए मैं आप सभी को निर्देश देता हूं कि निरंतर सतर्कता बरतें। BLO को एक मिनट के लिए भी अकेला न छोड़ें।’
‘सभी फॉर्म 3 नवंबर तक जमा हो जाएं’
बनर्जी ने हर जिले के बूथ लेवल एजेंट्स (BLA-1) को BLA-2 नियुक्त करने का आदेश दिया, जो BLO के साथ घर-घर सत्यापन के दौरान ‘छाया साथी’ की तरह रहेंगे, ताकि पारदर्शिता बनी रहे। उन्होंने कहा, ‘BLA-2 BLO का छाया साथी बनेगा। यह सुनिश्चित करें कि किसी का नाम गलत तरीके से न काटा जाए और सभी फॉर्म 3 नवंबर तक जमा हो जाएं।’ इस चरण को पार्टी के जमीनी संगठन के लिए ‘अग्निपरीक्षा’ बताते हुए उन्होंने चेतावनी दी, ‘अगर एक भी पात्र मतदाता का नाम कट गया, तो बंगाल के एक लाख लोग दिल्ली में चुनाव आयोग के दफ्तर के बाहर धरना देंगे।’ बता दें कि यह बयान उन्होंने पहले भी दिया है।
…तो बंद कमरे में इसलिए रखी गई बैठक
बनर्जी ने SIR को ‘साइलेंट इनविजिबल रिगिंग’ करार देते हुए कहा कि पार्टी इसे बेनकाब करने के लिए कानूनी और राजनीतिक दोनों रास्ते अपनाएगी। उन्होंने कहा, ‘जैसा कि आप जानते हैं, बीजेपी के इशारे पर चुनाव आयोग ने 27 अक्टूबर को बंगाल में SIR की घोषणा की। बिहार के SIR के बाद हमने कहा था कि इसका मतलब है साइलेंट इनविजिबल रिगिंग। तृणमूल कांग्रेस इससे अदालत में, संसद में और सड़कों पर लड़ेगी।’ यह बैठक मतदाता सूची संशोधन के लिए रणनीति बनाने और सभी जिलों, ब्लॉकों व बूथों में अभियान को समन्वय करने के लिए बुलाई गई थी। पार्टी सूत्रों ने बताया कि बंद कमरे में बैठक इसलिए रखी गई ताकि खुलकर चर्चा हो और योजना बनाई जा सके।
6200 मतदाता सहायता शिविर लगाएगी TMC
बनर्जी ने ऐलान किया कि 4 नवंबर से टीएमसी 2861 नगरपालिका वार्डों और 3345 ग्राम पंचायतों में 6200 मतदाता सहायता शिविर लगाएगी। ये शिविर लोगों को अपने नाम जांचने, दावे-आपत्तियां जमा करने और अनियमितताओं की शिकायत करने में मदद करेंगे। उन्होंने कहा, ‘हर शिविर में लैपटॉप, प्रिंटर और वाई-फाई होगा। सुबह 9 बजे से शाम 5 बजे तक एक महीने चलेगा। लोगों के मुश्किल वक्त में संदेश साफ होना चाहिए कि सिर्फ तृणमूल कांग्रेस उनके साथ खड़ी है।’ पार्टी का मतदाता संपर्क अभियान चरणबद्ध तरीके से 31 जनवरी तक चलेगा।
‘कोई भी समस्या तुरंत MLA या MP तक पहुंचाएं’
सभी सांसदों और विधायकों को 294 विधानसभा क्षेत्रों में ‘वॉर रूम’ बनाने के निर्देश दिए गए हैं। हर वॉर रूम में 15 सदस्य होंगे, 10 BLA-2 के साथ समन्वय करेंगे और 5 डाटा एंट्री संभालेंगे। बनर्जी ने कहा, ‘कोई भी समस्या तुरंत विधायक या सांसद तक पहुंचाएं। गंभीर मामला हो तो मुझे सीधे व्हाट्सएप करें।’ TMC नेता ने दावा किया कि कई जिलों, खासकर उत्तर 24 परगना, नदिया और कूच बिहार में पहले से ही गड़बड़ियां पकड़ी गई हैं। उन्होंने कहा, ‘हम ऑनलाइन और हार्ड कॉपी मतदाता सूची की तुलना कर रहे हैं और सबूत अदालत में पेश करेंगे। BJP बंगाल को बांटना और अल्पसंख्यकों, मटुआ समुदाय व गरीब मतदाताओं को वोट देने से वंचित करना चाहती है।’ (PTI)
