Bulldozer on terrorist’s house in Kashmir wall demolished । कश्मीर में आंतकी के घर पर चला बुलडोजर, ढहा दी गई दीवार


सरकार ने हिज्बुल मुजाहिदीन के कमांडर संपत्तियों को ध्वस्त किया- India TV Hindi

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सरकार ने हिज्बुल मुजाहिदीन के कमांडर संपत्तियों को ध्वस्त किया

जम्मू कश्मीर: दक्षिण कश्मीर के अनंतनाग जिले के पहलगाम इलाके में आंतकी के घर पर कार्रवाई हुई है। अतिक्रमण कर सरकारी जमीन पर बने हिज़्ब-उल-मुजादीन आतंकवादी के घर की बाहरी दीवार को अधिकारियों ने गिरा दिया है। आंतकी की पहचान गुलाम नबी खान उर्फ ​​आमिर खान के रूप में हुई। सूत्रों ने कहा कि आमिर हिज्बुल का ऑपरेशनल कमांडर है, जो 90 के दशक की शुरुआत में POK गया था और वहीं से काम कर रहा है।

जमीन पर कर लिया था कब्जा

दरअसल, सरकारी भूमि पर आंतकी हिजबुल मुजाहिदीन (एचएम) के कमांडर, गुलाम नबी खान ने दीवार बना कर अपने घर की अहाते में शामिल कर लिया था। जिस पर कार्रवाई करते हुए अधिकारियों ने शनिवार को जम्मू-कश्मीर के अनंतनाग जिले के लीवर में गिरा दिया। बता दें कि गुलाम नबी खान उर्फ सैफुल्ला खालिद उर्फ आमिर खान हिज्बुल प्रमुख सैयद सलाहुद्दीन का डिप्टी है जो पीओके से काम कर रहा है और यूएपीए के तहत आतंकवादी घोषित किया गया है।

बता दें कि केंद्र सरकार ने अगस्त 2019 में गैरकानूनी गतिविधि (रोकथाम) अधिनियम, 1967 में संशोधन किया था, जिसमें किसी व्यक्ति को आतंकवादी के रूप में घोषित करने का प्रावधान है। इस संशोधन से पहले, केवल संगठनों को आतंकवादी संगठनों के रूप में घोषित किया जा सकता था।

सरकार की जीरो टॉलरेंस की नीति

केंद्रीय गृह मंत्री अमित शाह ने आतंकवाद से लड़ने के लिए संशोधित प्रावधान को लागू करके सितंबर, 2019 में 4 लोगों और जुलाई, 2020 में 9 लोगों को आतंकवादी घोषित किया। आतंकवाद के प्रति जीरो टॉलरेंस की अपनी नीति को मजबूत करते हुए, मोदी सरकार ने कई व्यक्तियों को यूएपीए अधिनियम 1967 (2019 में संशोधित) के प्रावधानों के तहत आतंकवादी घोषित किया है। इसी के तहत गुलाम नबी खान उर्फ सैफुल्ला खालिद उर्फ आमिर खान एक आतंकवादी घोषित है।

अधिकारी ऐसे कई अतिक्रमणों की बना रहे लिस्ट

ये कार्रवाई घाटी में आतंकी तंत्र और बुनियादी ढांचे को ध्वस्त करने और आतंकी और उसके समर्थकों की रीढ़ तोड़ने के ऐसे प्रयास का हिस्सा है। रिपोर्टों के अनुसार अधिकारी सभी राष्ट्र विरोधी तत्वों द्वारा सरकारी भूमि पर ऐसे सभी अतिक्रमणों की लिस्ट तैयार कर रहे हैं, जिन्होंने इन जमीनों को उग्रवाद के चरम के दौरान बंदूक के बल पर हड़प लिया है। ये कार्रवाई ऐसी सभी आतकीं ताकतों को एक मजबूत मैसेज देता है।

जमीन स्थानीय पंचायत को सौंपी गई

इस भूमि पर से अतिक्रमण हटाने के अलावा, कार्रवाई अभियान के दौरान जमीन को पुनः वापस लिया गया और उस पर विकास परियोजनाओं के निर्माण के लिए स्थानीय पंचायत निकाय को सौंप दिया गया। बता दें कि इससे पहले स्थानीय पंचायत ने इस तरह के अतिक्रमण का संज्ञान लिया था और अधिकारियों से इसे हटाने की मांग की थी। उस पर तेजी से कार्रवाई करते हुए अतिक्रमण को हटाया गया और जमीन पर पुनः कब्जा हासिल किया गया। इसके अलावा स्थानीय थाने में अतिक्रमणकारियों के खिलाफ आईपीसी की विभिन्न धारा 441, 447 आदि के तहत प्राथमिकी दर्ज किया गया है।

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