Will the prices of petrol and diesel be cut? Government officials gave this important information on giving relief to the people| पेट्रोल-डीजल की कीमतों में होगी कटौती? लोगों को राहत देने पर सरकारी अध


Petrol and diesel - India TV Paisa
Photo:FILE पेट्रोल-डीजल की कीमत

क्या आम लोगों को पेट्रोल और डीजल (Petrol-Diesel) की कीमत में कटौती का तोहफा मिलने वाला है। ऐसी खबरें आ रही थी कि तेल कंपनियां जल्द ही कीमत में कटौती का ऐलान कर सकती है। इसके पीछे वजह बताई जा रही थी कि तेल कंपनियों ने अपने घाटे की भरपाई कर ली है। लेकिन ऐसा होता दिख नहीं रहा है। तीनों सरकारी तेल कंपनियों के अधिकारियों ने कहा कि कच्चे तेल की अंतरराष्ट्रीय कीमतों में नरमी आने से पेट्रोल और डीजल पर मार्जिन बढ़ने के बावजूद इनकी खुदरा कीमतों में बदलाव तभी होगा जब सार्वजनिक क्षेत्र की तेल कंपनियां पिछले साल हुए घाटे की भरपाई कर लेंगी। 

कीमत में दैनिक बदलाव पर पिछले साल से रोक 

सरकारी क्षेत्र की तीनों पेट्रोलियम कंपनियों ने पेट्रोल, डीजल की कीमतों में दैनिक बदलाव करने पर पिछले साल से ही रोक लगाई हुई है। उन्होंने अपनी लागत के अनुरूप कीमतों में संशोधन भी नहीं किया है। दरअसल ये कंपनियां कच्चे तेल की कीमतें खुदरा बिक्री कीमतों से ज्यादा होने पर पिछले साल हुए भारी घाटे की भरपाई अब लागत घटने पर कर रही हैं। इंडियन ऑयल कॉरपोरेशन (IOC), भारत पेट्रोलियम कॉरपोरेशन लिमिटेड (BPCL) और हिंदुस्तान पेट्रोलियम कॉरपोरेशन लिमिटेड (HPCL) देश में पेट्रोल, डीजल की खुदरा बिक्री करती हैं। 

अब पेट्रोल और डीजल पर हो रहा लाभ 

अधिकारियों ने कहा कि तीनों कंपनियों ने वित्त वर्ष 2022-23 की तीसरी तिमाही से ही पेट्रोल पर सकारात्मक मार्जिन कमाया है लेकिन डीजल बिक्री पर उन्हें उस समय भी घाटा हो रहा था। हालांकि पिछले महीने डीजल पर भी पेट्रोलियम कंपनियों का मार्जिन 50 पैसे प्रति लीटर के लाभ के साथ सकारात्मक हो गया। लेकिन पिछले साल हुए भारी घाटे की भरपाई के लिए यह पर्याप्त नहीं है। कच्चे तेल की अंतरराष्ट्रीय कीमतें रूस-यूक्रेन युद्ध के बाद मार्च, 2022 में 139 डॉलर प्रति बैरल तक पहुंच गई थीं। हालांकि अब ये कीमतें 75-76 डॉलर तक आ चुकी हैं। कच्चे तेल (Crude Oil) के दाम ऊंचे स्तर पर होने की स्थिति में तेल कंपनियों को पेट्रोल पर 17.4 रुपये प्रति लीटर और डीजल पर 27.7 रुपये प्रति लीटर का घाटा हुआ। 

एक तिमाही और करना होगा इंतजार 

अक्टूबर-दिसंबर तिमाही में कीमतें कुछ नरम होने पर तेल कंपनियों ने पेट्रोल पर 10 रुपये प्रति लीटर का मार्जिन कमाया लेकिन डीजल पर उन्हें 6.5 रुपये प्रति लीटर का घाटा हुआ था। इसके बाद जनवरी-मार्च 2023 की तिमाही में पेट्रोल पर उनका मार्जिन कम होकर 6.8 रुपये प्रति लीटर हो गया। लेकिन उन्हें डीजल पर मार्जिन 0.5 रुपये प्रति लीटर का सकारात्मक हुआ। अधिकारियों ने कहा कि पिछले घाटों की भरपाई करने के अलावा सार्वजनिक तेल कंपनियां इस पहलू पर भी नजर रखे हुए हैं कि कच्चे तेल की कम कीमतें लंबे समय तक कायम रहेंगी या नहीं। एक अधिकारी ने कहा, “मुझे लगता है कि तेल कंपनियां कम-से-कम एक और तिमाही तक कच्चे तेल की कीमतों पर नजर रखने के बाद ही पेट्रोल, डीजल की खुदरा कीमतों में संशोधन पर कोई फैसला करेंगी।” 

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