Cyber Fraud
Cyber Fraud: पिछले कुछ साल में साइबर फ्रॉड के मामले काफी तेजी से बढ़े हैं। हाल ही आई एक सर्वे में यह दावा किया गया है कि बीते 3 साल में 47 प्रतिशत भारतीयों ने एक या उससे ज्यादा वित्तीय फ्रॉड को एक्सपीरियंस किया है। यह आंकड़ा हैरान करने वाला है। 140 करोड़ के देश की आधी आबादी इस समय साइबर अपराधियों के निशाने पर हैं। इस सर्वे में यह भी दावा किया गया है कि सबसे ज्यादा और आम फ्रॉड UPI और क्रेडिट कार्ड से जुड़ा है।
Local Circles के इस ताजा सर्वे में शामिल 43 प्रतिशत लोगों ने माना है कि क्रेडिट कार्ड पर फ्रॉड ट्रांजैक्शन रिकॉर्ड किए गए हैं। वहीं, 36 प्रतिशत लोगों का कहना है कि वो UPI ट्रांजैक्शन वाले फ्रॉड को झेल चुके हैं। पिछले 3 साल में हर 10 में से 6 भारतीयों ने माना कि वो फ्रॉड वाले ट्रांजैक्शन की सूचना लॉ एनफॉर्मेंट एजेंसी या रेगुलेटर्स को नहीं देते हैं।
166 प्रतिशत तक बढ़े मामले
इसके अलावा RBI के डेटा पर गौर करें तो पिछले वित्त वर्ष 2023-24 साइबर फ्रॉड के मामले 166 प्रतिशत तक बढ़ गए हैं। रिजर्व बैंक के मुताबिक, इस दौरान 36 हजार से भी ज्यादा साइबर फ्रॉड के मामले सामने आए हैं। इस वित्त वर्ष में साइबर ठगों ने लोगों से 13 हजार 930 करोड़ रुपये ठग लिए हैं। साइबर अपराधी हर बार नए-नए तरीकों से लोगों को ठग रहे हैं।
हाल ही में कस्टम अधिकारी बनकर ठगी करने के काफी मामले सामने आए हैं। साइबर ठग कस्टम अधिकारी बनकर लोगों को डराते हैं और फिर उनके साथ फ्रॉड को अंजाम दिया जाता है। इस पर CBIC ने सोशल मीडिया कैंपेन भी चलाया है।
CBIC ने किया आगाह
CBIC ने अपने सोशल मीडिया विज्ञापन में लोगों को आगाह करते हुए कहा कि पार्सल का ऑर्डर न करने वाले ऐसे फोन स्कैम होते हैं। कस्टम डिपार्टमेंट कभी भी किसी को फोन करके चार्ज नहीं मांगता। इसके अलावा लोगों को इस बात का ध्यान भी रखना चाहिए कि अपनी निजी और बैंक डिटेल्स कभी भी किसी के साथ शेयर न करें।