सितंबर में रिकॉर्ड बारिश के बाद शुक्रवार को दिल्ली में हवा की गुणवत्ता साल की सबसे स्वच्छ रही। राष्ट्रीय राजधानी में वायु गुणवत्ता सूचकांक (एक्यूआई) 52 दर्ज किया गया, जो “अच्छे” और “संतोषजनक” एक्यूआई के करीब माना जाता है। फ़रीदाबाद में 24 घंटे का औसत AQI 24 दर्ज किया गया, जबकि गाजियाबाद और नोएडा का AQI क्रमशः 34 और 46 दर्ज किया गया, ये सभी वायु गुणवत्ता की “अच्छी” श्रेणी में आते हैं। इस बीच, गुरुग्राम में AQI 69 दर्ज किया गया और बुलंदशहर में AQI 21 दर्ज किया गया, मेरठ में 28 दर्ज किया गया, और मुजफ्फरनगर में AQI 29 दर्ज किया गया।
सितंबर में दिल्ली में हुई रिकॉर्ड बारिश
हवा में आए महत्वपूर्ण सुधार के लिए सक्रिय मानसून को जिम्मेदार माना जा सकता है, जिससे पूरे दिल्ली एनसीआर क्षेत्र में पर्याप्त वर्षा हुई और बारिश ने प्रभावी ढंग से वायु प्रदूषण के लिए माने जा रहे कारकों को धोकर हवा को स्वच्छ कर दिया। बारिश के दौरान 30-40 किमी प्रति घंटे की हवा की रफ्तार रही जिससे हवा को प्रदूषित करने वाले कारक दूर हो गए। बता दें कि सितंबर के शुरुआती दिनों में दिल्ली में इस साल की रिकॉर्ड बारिश हुई जिससे मौसमी औसत बारिश 1,000 मिमी के आंकड़े को पार कर गई।
सामान्य से हुई ज्यादा बारिश से मौसम हुआ सुहावना
पीटीआई की रिपोर्ट के अनुसार, दिल्ली के पालम में 54 मिमी बारिश दर्ज की गई, जबकि सफदरजंग के मौसम केंद्र ने शुक्रवार को दोपहर 2.30 से शाम 5.30 बजे तक तीन घंटे के भीतर 30.9 मिमी बारिश दर्ज की। आधिकारिक आंकड़ों के मुताबिक, दिल्ली ने सितंबर महीने की औसत बारिश की सीमा को भी पार कर लिया है। दिल्ली में सितंबर में 125.8 मिमी बारिश दर्ज की गई, जो सामान्य से 55% अधिक है। सितंबर 2023 में औसत से कम वर्षा हुई, केवल 82.7 मिमी दर्ज की गई, जो सामान्य मात्रा से 33% कम है।
बता दें कि 64.5 मिमी और 115.5 मिमी के बीच मापी गई वर्षा को “भारी”, 115.6 मिमी और 204.4 मिमी के बीच हुई बारिश को “बहुत भारी”, और 204.5 मिमी से ऊपर हुई बारिश को “अत्यंत भारी बारिश” माना जाता है। वहीं वायु गुणवत्ता की बात करें तो AQI स्केल “अच्छा” (0-50) से “गंभीर” (401-500) तक होता है, “संतोषजनक” (51-100) यह दर्शाता है कि हवा की गुणवत्ता में बहुत कम या कोई जोखिम नहीं है।