‘मुस्लिम समुदाय का कांग्रेस-राजद ने वोटबैंक की तरह किया इस्तेमाल’, इफ्तार पार्टी के दौरान बोले चिराग पासवान


Congress RJD used Muslim community as vote bank said Chirag Paswan during Iftar party
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चिराग पासवान

केंद्रीय मंत्री चिराग पासवान ने मुसलमानों की दुर्दशा के लिए सोमवार को कांग्रेस और बिहार में उसकी सहयोगी पार्टी राजद को सीधे तौर पर जिम्मेदार ठहराया और दावा किया कि इन पार्टियों ने समुदाय का केवल “वोट बैंक” के तौर पर इस्तेमाल किया। लोक जनशक्ति पार्टी (रामविलास) के प्रमुख अपनी पार्टी द्वारा आयोजित इफ्तार के अवसर पर पत्रकारों से बात कर रहे थे। इसमें बिहार के मुख्यमंत्री सह जद(यू) प्रमुख नीतीश कुमार और उपमुख्यमंत्री एवं भाजपा के वरिष्ठ नेता सम्राट चौधरी सहित राष्ट्रीय जनतांत्रिक गठबंधन (राजग) में शामिल अन्य सहयोगी दलों के नेता शामिल हुए, हाजीपुर के सांसद पासवान से जमीयत उलेमा-ए-हिंद के अध्यक्ष मौलाना अरशद मदनी की वक्फ विधेयक को लेकर उस घोषणा के बारे में पूछा गया था, जिसमें राजग नेताओं चिराग पासवान, नीतीश कुमार और आंध्र प्रदेश के मुख्यमंत्री चंद्रबाबू नायडू द्वारा आयोजित इफ्तार और ईद मिलन से दूरी बढ़ते जाने की बात कही गई थी। 

इफ्तार पार्टी आयोजन करने पर क्या बोले चिराग पासवान

पासवान ने कहा, ‘‘मैं हिंदू हूं, फिर भी मैं इफ्तार पार्टी का आयोजन कर रहा हूं, क्योंकि जब हिंदू और मुसलमान साथ मिलकर रोटी खाते हैं, तो इससे सद्भाव और सद्भावना का संदेश जाता है। अगर कोई धार्मिक संगठन या उसके नेता ऐसे मौके पर राजनीतिक रुख अपनाते हैं, तो यह आयोजन की पवित्रता के खिलाफ जाता है।’’ उन्होंने कहा, “मदनी साहब बुजुर्ग हैं, जिनसे मेरे परिवार के करीबी संबंध रहे हैं। मैं उनका बहुत सम्मान करता हूं। उनकी नाराजगी सर आंखों पर मेरी भी उनसे एक छोटी शिकायत है।’’ पासवान ने मदनी से सवाल करते हुए कहा, ‘‘मेरे पिता ने 2005 में मुस्लिम मुख्यमंत्री की मांग को लेकर अपनी पार्टी को समाप्त कर लिया था, उनके बेटे से आपको शिकायत है पर जिन्होंने मुसलमानों को लंबे समय तक अपना वोट बैंक बना करके रखा, उनसे आपको कोई शिकायत नहीं है।’’ 

कांग्रेस और राजद ने मुसलमानों का वोट बैंक की तरह किया इस्तेमाल

पासवान ने कहा, “मैं मदनी साहब को सच्चर कमेटी की रिपोर्ट की याद दिलाना चाहूंगा, जिसमें देश में मुसलमानों की दयनीय स्थिति को उजागर किया गया। इसके लिए किस पार्टी को दोषी ठहराया जा सकता है? अटल बिहारी वाजपेयी की सरकार के एक छोटे से दौर को छोड़कर, देश में कांग्रेस का शासन रहा है। इसी तरह बिहार में भी 2005 तक राष्ट्रीय जनता दल (राजद) सत्ता में था।’’ केंद्रीय मंत्री ने कहा, “मैं मदनी साहब के मेरे इफ्तार का बहिष्कार करने के फैसले का सम्मान करता हूं। लेकिन वह कांग्रेस और राजद को संरक्षण देकर सही काम नहीं कर रहे हैं, जो मुसलमानों को वोट बैंक की तरह मानते हैं और समुदाय की दुर्दशा के लिए जिम्मेदार हैं।” 

क्या है पूरा मामला?

बता दें कि 24 मार्च को बिहार में अलग-अलग पार्टी के नेताओं द्वारा इफ्तार पार्टियों का आयोजन किया गया था। लोक जनशक्ति पार्टी (रामविलास) के राष्ट्रीय अध्यक्ष और केंद्रीय मंत्री चिराग पासवान ने भी सोमवार को इफ्तार पार्टी का आयोजन किया। इस दौरान सीएम नीतीश कुमार और डिप्टी सीएम सम्राट चौधरी भी वहीं पहुंचे। इस दौरान मुस्लिम समाज के कई बड़े नेताओं ने इसमें भाग लिया। वहीं कुछ मुस्लिम नेताओं ने चिराग पार्टी की इफ्तार पार्टी से दूरी बना ली। चिराग पासवान की इफ्तार पार्टी पर सभी की निगाहें टिकी हुई हैं। माना जा रहा है कि इन इफ्तार पार्टियों में राजनीतिक समीकरण बन सकते हैं। बता दें कि बिहार में अक्तूबर-नवंबर में विधानसभा चुनाव होने वाले हैं। इफ्तार पार्टी को इसी विधानसभा चुनाव से जोड़कर देखा जा रहा है।

(इनपुट-भाषा)





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