
ब्रह्मोस
लखनऊ: रक्षा मंत्री राजनाथ सिंह ने वीडियो कॉन्फ्रेंसिंग के जरिए लखनऊ में ब्रह्मोस इंटीग्रेशन एवं टेस्टिंग फैसिलिटी सेंटर का उद्घाटन किया है। 300 करोड़ रुपए की यह सुविधा उत्तर प्रदेश रक्षा औद्योगिक गलियारे का एक महत्वपूर्ण हिस्सा है और आत्मनिर्भर रक्षा विनिर्माण के लिए भारत की प्रतिबद्धता को दर्शाती है। इसमें न केवल मिसाइल उत्पादन बल्कि टेस्टिंग, इंटीग्रेशन और एयरोस्पेस-ग्रेड कंपोनेंट्स के लिए एक मैटेरियल कॉम्पलेक्स भी शामिल है। ये आत्मनिर्भर भारत की दिशा में एक बड़ी छलांग है, जिससे क्षेत्रीय औद्योगिक विकास को रणनीतिक बढ़ावा मिलेगा।
ब्रह्मोस टेस्टिंग फैसिलिटी क्या है और इसका उद्देश्य क्या है?
ब्रह्मोस टेस्टिंग फैसिलिटी से इस मिसाइल की गुणवत्ता, विश्वसनीयता और प्रदर्शन को सुनिश्चित किया जाता है, जो इसके इंटीग्रेशन और टेस्टिंग में अहम भूमिका निभाती है। इस फैसिलिटी के जरिए मिसाइल को असेंबल करने के लिए विभिन्न घटकों और उनकी क्षमता का परीक्षण करने के लिए हाई क्वालिटी टेक्नालॉजी का इस्तेमाल किया जाता है।
इस सुविधा से भारत रक्षा के क्षेत्र में आत्मनिर्भर बनेगा और इससे स्वदेशी स्तर पर मिसाइलों के परीक्षण की क्षमता को मजबूती मिलेगी। इससे मिसाइलों की टेस्टिंग होगी, जिससे उत्पादों की गुणवत्ता और मार्केटिंग में सुधार होगा।
Brahmos
ब्रह्मोस मिसाइल की विशेषताएं क्या हैं?
- सतह से सतह की रेंज: 450-800 KM
- हवा से सतह की रेंज: 450-500 KM
- समंदर से सतह की रेंज: 500 KM
रक्षा मंत्री राजनाथ सिंह का सामने आया बयान
रक्षा मंत्री राजनाथ सिंह ने कहा, ‘जिस परिस्थिति से हम गुजर रहे हैं इसलिए मैं लखनऊ नहीं आ पाया। आज का दिन बहुत खास है। आज ही 1998 में पोखरण में भारत ने अपनी ताकत दिखाई थी। चालीस महीने में ये प्रोजेक्ट पूरा हुआ। आजकल जो परिस्थितियां हैं, उसमें समयबद्ध काम की ज़रूरत है। जिन आतंकियों ने आतंकी हमला करके हमारी बहनों का सिंदूर मिटाया उसका जवाब आपरेशन सिंदूर ने दिया।’
राजनाथ ने कहा, ‘हमने उनके नागरिकों को कभी निशाना नहीं बनाया। भारत में आतंकी घटनाओं का क्या अंजाम होता है, ये पूरी दुनिया देख रही है। ये नया भारत है जो आतंकवाद के खिलाफ सरहद के इस पार और उस पार कड़ी कार्रवाई करेगा। ये पीएम मोदी ने बता दिया है। जो भी भारत में आतंकी घटनाओं को अंजाम देगा, सरहद पार की जमीन भी उसे बचा नहीं पाएगी। पूरी दुनिया ने देखा कि भारत आतंकवाद को किस तरह से चोट पहुंचाता है।’