
आप की अदालत में आमिर खान
नई दिल्ली: इंडिया टीवी के लोकप्रिय शो ‘आप की अदालत’ में इस बार के मेहमान बॉलीवुड स्टार आमिर खान हैं। आमिर ने इंडिया टीवी के चेयरमैन एवं एडिटर इन चीफ रजत शर्मा के सवालों के खुलकर जवाब दिए। आमिर ने पहलगाम आतंकी हमले, पाकिस्तान, टर्की और सेंसर बोर्ड समेत तमाम मुद्दों पर अपना पक्ष रखा।
पहलगाम में निर्दोष पर्यटकों की हत्या पर चुप क्यों रहे?
जब आमिर खान से पूछा गया कि 22 अप्रैल को पहलगाम में निर्दोष पर्यटकों की हत्या हुई तो वे चुप क्यों रहे, तो आमिर ने कहा, ‘ये जो अटैक हुआ, हमारे देश पर आतंकवादी हमला हुआ, ये इतना घिनौना एक्ट है, इसमें आप उनकी कायरता देखेंगे। ये जो बुजदिल लोग हैं वो हमारे देश में घुसकर आम नागरिकों पर गोली चला रहे हैं। मजहब पूछकर उन पर गोली चला रहे हैं। इसका क्या मतलब है? इस पर मैंने बोला भी है।’
आमिर ने कहा, ‘अब होता क्या है कि मैं सोशल मीडिया पर नहीं हूं। तो जैसे ही कुछ चीज होती है तो लोग एक-एक सेकंड में बोलते रहते हैं। हालांकि मैंने इसके बारे में बात भी की। जब मैं किसी फंक्शन में गया था तो मुझसे पूछा गया था तो मेरा बहुत ही साफ जवाब था कि ये जो हमला है वो सिर्फ हमारे देश के लोगों पर नहीं है। ये हमारे देश की एकता पर भी हमला है और यह बहुत ही घिनौना काम किया है। उनको बहुत ही मुंहतोड़ जवाब मिल चुका है।’
टर्की को लेकर उठा सवाल तो कही ये बात
जब रजत शर्मा ने बताया कि टर्की ने ‘ऑपरेशन सिंदूर’ के बाद भारत पर हमला करने के लिए पाकिस्तान को ड्रोन दिए, और कई सिनेमा प्रेमी उनसे नाखुश हैं क्योंकि उन्होंने 2017 में टर्की के राष्ट्रपति रजब तयब एर्दोगन और 2020 में टर्की की प्रथम महिला एमीन एर्दोगन से मुलाकात की थी, तो आमिर खान ने इस सवाल का जवाब दिया।
आमिर ने कहा, ‘टर्की ने बहुत गलत किया है और हर हिंदुस्तानी को इससे चोट पहुंची है। कुछ साल पहले उनके यहां भूकंप आया था। उनको सबसे पहले मदद किसने दी थी? सबसे पहले इंडिया ने उन्हें मदद दी थी। उस वक्त हमारी सरकार को भी नहीं पता था (कि तुर्की ने पाकिस्तान को ड्रोन दिए हैं)। जिस तरह मुझे नहीं पता था। जब मैं एर्दोगन को मिलने गया था तो जैसे सरकार को नहीं पता था वैसे मुझे भी नहीं पता था कि हमारे साथ सात साल बाद ये ऐसी हरकत करेंगे। हमने एक दोस्ती का हाथ बढ़ाया। हमने उनकी मदद की। उनके तकलीफ के वक्त हमने उनकी मदद की। सबसे पहले हम थे और उन्होंने हमको ये जवाब दिया ( पाकिस्तान को हमला करने में मदद की)तो ये गलत हुआ है।’
रजत शर्मा ने आमिर से पूछा, ‘एक और भी फोटो है एर्दोगन की वाइफ के साथ।’ इस पर आमिर खान ने कहा, ‘वो तो उससे भी पुरानी बात है। अब देखिए क्या होता है कि मैं बतौर सेलिब्रिटी एक्टर जब किसी और देश में जाता हूं तो आई एम लाइक एंबेसडर ऑफ द कंट्री। तो जब कोई मुझसे बोलता है आप चाय पर आएंगे तो मेरा ना बोलना ठीक नहीं लगता। ऐसा हमारी जिंदगी में बहुत दफा होता है। अब टर्की ने जो किया है बहुत गलत किया है और इससे हर हिंदुस्तानी का दिल दुखा है। हमें बड़ा गुस्सा आया कि हमने आपकी मदद की और आपने हमसे ऐसा किया।’
इस पर रजत शर्मा ने कहा, ‘कुछ लोग तो कह रहे है बॉयकॉट टर्की, लोगों ने अपने ट्रैवल प्लान को कैंसिल करा लिया।’ इस पर आमिर खान ने कहा, ‘बहुत सही किया। हमें बिल्कुल टर्की को सपोर्ट नहीं करना चाहिए। जो हम पर हमला कर रहे हैं वो उनकी मदद कर रहे हैं। वे पाकिस्तान की मदद कर रहे हैं। जब हमारे साथ तकरार हो रही है तो वो पाकिस्तान की तरफ ले रहे हैं जबकि हमने उनकी मदद की है। ये क्या बात हुई। ये गलत बात है। बहुत ही गलत बात है।’
फिल्मों में पाकिस्तान का नाम क्यों नहीं लेते? इस सवाल पर क्या बोले आमिर
यह पूछे जाने पर कि वे अपनी फिल्मों में पाकिस्तान का नाम क्यों नहीं लेते, सुपरस्टार ने जवाब दिया, ‘हिंदुस्तान की फिल्म हिस्ट्री आप उठाकर देख लीजिए। हमेशा हम लोगों को सेंसर बोर्ड कहती है कि आप पड़ोसी मुल्क बोलिए, आप उसका (पाकिस्तान) नाम नहीं ले सकते। तो पहले जमाने में आता था कि वो पड़ोसी मुल्क का हमला हो गया है। पड़ोसी मुल्क ये कर रहा है तो हम फिल्म वालों को ये बोलना अलाउड नहीं था। क्या आपको पता है कि सरफरोश मेरी वो पहली फिल्म है इतिहास की जिसमें हमने खुलकर पाकिस्तान का नाम लिया है। खुलकर आईएसआई का नाम लिया है। निर्देशक जॉन (मैथ्यू मैथन) ने कहा था कि सेंसर ये पास नहीं करेगी तो मैंने कहा क्यों पास नहीं करेगी। हम उनको समझाएंगे कि जब पार्लियामेंट में आडवाणी जी कह सकते हैं कि पाकिस्तान हमारे साथ गलत बर्ताव कर रहा है। हमारे देश में आतंकवाद फैला रहा है। जब आडवाणी जी हमारे पार्लियामेंट में कह सकते हैं तो हम क्यों नहीं कह सकते?’
आमिर ने कहा कि उस बेसिस पे हमको परमिशन मिली उस फिल्म में और वो पहली फिल्म थी जिसमें हमने पाकिस्तान का नाम लिया। उसके बाद जितनी फिल्में आई हैं, अब हम पाकिस्तान बोलते हैं या आईएसआई बोलते हैं। सरफरोश पहली फिल्म थी। तो जो लोग कहते हैं कि मैं पाकिस्तान के खिलाफ बोलता नहीं हूं, तो मैंने सबसे पहले पाकिस्तान का नाम लिया है।
आमिर खान ने वर्ष 2016 में रिलीज हुई मूवी दंगल को लेकर इंडिया टीवी पर बड़ा खुलासा किया। उन्होंने कहा कि पाकिस्तान सेंसर बोर्ड यह चाहता था कि वहां इस फिल्म को रिलीज करने के लिए राष्ट्रध्वज और राष्ट्रगान के सीन को हटा दें। फिल्म के प्रोड्यूसर्स Disney के सामने पाक सेंसर बोर्ड ने यह शर्त रखी थी लेकिन हमने उस शर्त को नहीं माना और ‘दंगल’ को पाकिस्तान में रिलीज करने से इनकार कर दिया।
आमिर खान ने कहा, ‘आपको मेरी फिल्म दंगल याद है। दंगल के प्रोड्यूसर्स Disney की ओर से यह कहा गया कि पाकिस्तान के सेंसर बोर्ड से हमको रिएक्शन आया है कि इस फिल्म के आखिर में गीता फोगाट के जीतने के बाद हमारा तिरंगा ऊपर जाता है और राष्ट्रगान बजता है। उन्होंने (पाक सेंसर बोर्ड) कहा कि आप ये दो चीजें निकाल दीजिए। हिंदुस्तान का नेशनल एंथम (राष्ट्रगान) निकाल दीजिए और आप इंडियन फ्लैग (राष्ट्रध्वज) निकाल दीजिए वरना हम ये फिल्म पास नहीं करेंगे। तो मैंने एक सेकेंड में Disney वालों को बोला कि हमारी फिल्म पाकिस्तान में रिलीज नहीं होगी। मतलब मुझे सोचने की जरूरत नहीं है। तो उन्होंने (Disney) कहा कि हमारा बिजनेस में फर्क पड़ेगा, हमको नुकसान होगा। जो जो हमसे ये कहेगा कि हमारे इंडियन फ्लैग निकाल दो और जो हमारा राष्ट्रगान निकाल दो, उनमें मुझे इंटरेस्ट ही नहीं है। वो धंधा मुझे चाहिए ही नहीं।’
सबसे ज्यादा कमाई कहां से हुई? ये भी बताया
रजत शर्मा ने आमिर से पूछा कि, ‘सबसे ज्यादा धंधा आपको अगर कहीं से मिला है, पैसे की कमाई हुई है, वो चाइना से हुई है?’ इस पर आमिर ने कहा कि नहीं, मेरी सबसे ज्यादा कमाई इंडिया से हुई। चाइना में मेरी दो फिल्में बहुत चलीं। एक सीक्रेट सुपरस्टार और एक दंगल। चीन में मेरी फिल्मों को बहुत पसंद करते हैं। जब दंगल लगी थी, सीक्रेट सुपरस्टार लगी थी, तब तक तो हमारी कोई तकलीफ नहीं थी चाइना के साथ, चाइना के साथ हमारी दोस्ती थी। उन्होंने मुझे अवॉर्ड दिया नेशनल ट्रेजर ऑफ इंडिया। लेकिन आप ये सोचिए उन्होंने ये नहीं कहा कि नेशनल ट्रेजर ऑफ चाइना। उन्होंने कहा, नेशनल ट्रेजर ऑफ इंडिया। तो वो भी मुझे इंडिया का नेशनल ट्रेजर मानते हैं।’