
अदालत
कोलकाता: भारतीय प्रबंधन संस्थान (IIM)-कलकत्ता में कथित रेप के मामले में आरोपी छात्र को अलीपुर कोर्ट ने जमानत दे दी है। आरोपी छात्र को 50 हजार के निजी मुचलके पर जमानत दी गई है। आरोपी को जमानत देते हुए अदालत ने कहा कि पीड़ित लड़की ने जांच में सहयोग नहीं किया।
हॉस्टल के अंदर हुई घटना
इस मामले में छात्रा ने हरिदेवपुर थाने में FIR दर्ज कराई थी जिसके आधार पर आरोपी को गिरफ्तार कर लिया गया था। कथित घटना आईआईएम-कलकत्ता के लड़कों के छात्रावास के अंदर हुई थी। “छात्रा ने प्राथमिकी में कहा है कि उसे काउंसलिंग के लिए हॉस्टल बुलाया गया था। छात्रावास में उसे नशीला पेय पदार्थ दिया गया, जिसे पीने के बाद वह बेहोश हो गई। होश में आने के बाद छात्रा को एहसास हुआ कि उसके साथ दुष्कर्म हुआ है।” छात्रा ने यह आरोप भी लगाया कि आरोपी ने उसे धमकी दी थी कि अगर इस बारे में किसी को बताया तो उसे गंभीर परिणाम भुगतने होंगे।
19 जुलाई तक के लिए हिरासत में भेजा गया था
आरोपी छात्र को 19 जुलाई तक के लिए पुलिस हिरासत में भेज दिया गया था। अभियोजन पक्ष के वकील ने जांच और पूछताछ के लिए आरोपी को 25 जुलाई तक पुलिस हिरासत में रखने का अनुरोध किया था। आरोपी के वकील ने अदालत के समक्ष दावा किया कि कोलकाता के दक्षिणी बाहरी इलाके जोका में स्थित आईआईएम-कलकत्ता एक सुरक्षित स्थान है, जहां प्रवेश प्रतिबंधित है। उन्होंने कहा कि परिसर में प्रवेश करने के लिए अपना नाम दर्ज कराना और पहचान पत्र दिखाना आवश्यक है। उन्होंने दावा किया कि छात्र पर लगाए गए आरोपों में कुछ गड़बड़ है।
माता-पिता ने क्या कहा था?
इस मामले की जांच के लिए पुलिस ने नौ सदस्यीय विशेष जांच दल (एसआईटी) का गठन किया था। एसआईटी का नेतृत्व दक्षिण-पश्चिमी प्रभाग के एक सहायक आयुक्त कर रहे हैं। हालांकि, महिला के पिता ने दावा किया कि कथित दुष्कर्म की घटना हुई ही नहीं है। उन्होंने से कहा, ‘‘रात नौ बजकर 40 मिनट पर मेरी बेटी का फोन आया। उसने बताया कि वह एक वाहन से गिरकर बेहोश हो गई और उसे चोटें आई हैं। बाद में, मुझे पता चला कि उसे एसएसकेएम अस्पताल में भर्ती कराया गया है। मेरी बेटी से मिली जानकारी के आधार पर, पुलिस जैसा दावा कर रही है, वैसा कुछ भी नहीं हुआ।’’
रिपोर्ट-ओंकार सरकार, कोलकाता