
शाहरुख खान।
71वें राष्ट्रीय फिल्म पुरस्कारों की घोषणा आज यानी शुक्रवार को दिल्ली में की गई है। बेस्ट एक्टर और बेस्ट एक्ट्रेस के नाम का भी ऐलान कर दिया गया है, जिसे जानने के बाद फैंस अपनी कुर्सी से उझले बिना नहीं रह पाएंगे। 33 साल से दर्शकों के दिलों पर राज करने वाले शाहरुख खान को ‘जवान’ के लिए बेस्ट एक्टर के 71वें राष्ट्रीय पुरस्कार से नवाजा गया है। किंग खान’ और ‘बादशाह ऑफ बॉलीवुड’ के नाम से मशहूर शाहरुख खान के करियर में एक और पंख लग गया है, लेकिन ये अवॉर्ड उन्हें अकेले नहीं मिला है, बल्कि उनके साथ ही ये पुरस्कार एक और नामी एक्टर शेयर करेंगे। अपनी एक्टिंग का लोहा मनवाने वाला ये एक्टर भले ही तजुर्बे में शाहरुख खान से पीछे हो, लेकिन अपनी कला में उनसे पीछे हरगिज नहीं है।
शाहरुख खान के साथ ये एक्टर भी बना विजेता
ये एक्टर कोई और नहीं बल्कि विक्रांत मैसी हैं, जिन्होंने अपने शानदार करियर में कई कल्ट फिल्में दी हैं। विक्रांत मैसी को ये अवॉर्ड उनकी शानदार फिल्म ’12वीं’ फेल के लिए मिला, जो दर्शकों के दिल को छू गई थी। इस फिल्म में उन्होंने आईपीएस अधिकरी मनोज शर्मा का रोल निभाया था। इस रियल लाइफ बेस्ड फिल्म में विक्रांत मैसी की एक्टिंग जादुई थी। जहां एक ओर पूरी तरह से कॉमर्शियल सिनेमा का जलवा रहा और ‘जवान’ के लिए शाहरुख खान को अवॉर्ड मिला। सितंबर 2023 में रिलीज हुई, एटली द्वारा निर्देशित ‘जवान’ एक्शन, इमोशन और स्टार पावर के मिश्रण से एक ब्लॉकबस्टर साबित हुई। शाहरुख खान ने इस फिल्म में दोहरी भूमिकाएं निभाई हैं। आजाद, एक जेलर जो गुप्त रूप से एक निगरानीकर्ता की भूमिका निभाता है और विक्रम राठौर उसका पुराना रूप था। वहीं दूसरी ओर विक्रांत मैसी ने फीचर फिल्म के लिए अवॉर्ड अपने नाम किया है।
किसे मिला बेस्ट एक्ट्रेस का अवॉर्ड?
बेस्ट एक्ट्रेस की बात करें तो रानी मुखर्जी ने ये खिताब अपने नाम किया है। कई शानदार किरदार निभा तुकी रानी मुखर्जी को ये अवॉर्ड मिसेज चटर्जी वर्से नॉरवे के लिए मिला। फिल्म की कहानी और रानी की एक्टिंग दोनों की ही काफी सराहना हुई थी। रियल लाइफ पर आधारित इस कहानी में एक मां की जंग दिखाई गई थी। रानी मुखर्जी अभिनीत ‘मिसेज चटर्जी वर्सेस नॉर्वे’ 2023 में रिलीज होने वाली हिंदी फिल्म है, जो सागरिका चक्रवर्ती की वास्तविक कहानी पर आधारित है, जिनके बच्चों को नॉर्वे की बाल कल्याण सेवाओं द्वारा हाथ से खाना खिलाने और बच्चों के साथ सोने जैसे सांस्कृतिक अंतर के कारण ले जाया गया था।