
सरकार ने अमृत भारत योजना में देश भर में अब तक 104 रेलवे स्टेशनों के रीडेवलपमेंट का काम पूरा कर लिया है। रेल मंत्री अश्विनी वैष्णव ने शुक्रवार को इस बात की जानकारी दी। उन्होंने बताया कि इस स्कीम के तहत देश भर में 1,300 रेलवे स्टेशनों का रीडेवलपमेंट होना है। पीटीआई की खबर के मुताबिक, अमृत भारत योजना के तहत पूरे रेलवे नेटवर्क में स्टेशनों को बेहतर और मॉडर्न बनाना और यात्रियों को बेहतर सुविधाएं प्रदान करना है। प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी ने 2023 में स्टेशन रीडेवलपमेंट योजना की आधारशिला रखी थी।
132 रेलवे स्टेशन महाराष्ट्र में हैं
खबर के मुताबिक, अश्विनी वैष्णव ने कहा कि 1,300 स्टेशनों में से कई स्टेशन पर रीडेवलपमेंट कार्य पूरा होने वाला है, जिनमें से 132 महाराष्ट्र में हैं। कई अन्य स्टेशनों पर काम में उल्लेखनीय प्रगति जारी है। वैष्णव ने कहा कि दुनिया में कहीं भी इस पैमाने पर स्टेशन पुनर्विकास परियोजना नहीं हुई है। मंत्री ने योजना के तहत शामिल स्टेशनों पर चल रहे काम की तस्वीरें दिखाईं, जिसमें मुंबई का छत्रपति शिवाजी महाराज टर्मिनस (सीएसएमटी) भी शामिल है, जिसे विश्व स्तरीय ट्रेन सुविधा के रूप में विकसित किया जा रहा है।
अनुमानित लागत 1,800 करोड़ रुपये
केंद्रीय मंत्री ने कहा कि सीएसएमटी स्टेशन के नवीनीकरण का काम बहुत बड़ा है, जिसकी अनुमानित लागत 1,800 करोड़ रुपये है और यह बहुत तेज़ गति से चल रहा है। उन्होंने कहा कि रीडेवलपमेंट का काम पूरा होने पर, दक्षिण मुंबई में ब्रिटिश काल का परिसर सीएसटीएम लंदन के किंग्स क्रॉस स्टेशन से कहीं बेहतर दिखाई देगा। वैष्णव ने कहा कि इस योजना का मकसद स्टेशनों को आधुनिक सुविधाओं जैसे वेटिंग लाउंज, फूड कोर्ट, स्वच्छ शौचालय, लिफ्ट, एस्केलेटर और डिजिटल सुविधाओं से लैस करना है।
योजना के तहत शामिल कुछ प्रमुख स्टेशन
छत्रपति शिवाजी महाराज टर्मिनस के अलावा, महाराष्ट्र में इस योजना के तहत शामिल कुछ प्रमुख स्टेशन हैं: दादर (मध्य और पश्चिमी), अंधेरी (मुंबई), पुणे, नासिक रोड, नागपुर और छत्रपति संभाजीनगर आदि। वैष्णव ने कहा कि केंद्र ने पहले ही महाराष्ट्र के विदर्भ क्षेत्र में 240 किलोमीटर के रणनीतिक गलियारे गोंदिया-बल्लारशाह रेलवे लाइन के दोहरीकरण को मंजूरी दे दी है, जिसमें 4,819 करोड़ रुपये का निवेश होगा।
उन्होंने परियोजना के महत्व को समझाते हुए कहा कि गोडिया-बल्लारशाह रेल लाइन के दोहरीकरण से उत्तर से दक्षिण की तरफ से आने-जाने के लिए एक अलग गलियारा उपलब्ध हो जाएगा। मंत्री ने कहा कि यह महत्वपूर्ण परियोजना आंध्र प्रदेश और छत्तीसगढ़ के साथ महाराष्ट्र के रेल संपर्क को मजबूत करेगी, जिससे क्षेत्रीय व्यापार और एकीकरण को बढ़ावा मिलेगा।
