
किस रंग का है सूरज
Explainer: सूरज या सूर्य कहें, यह एक धधकता आग का गोला है और हमारे सौरमंडल के केंद्र में स्थित है। यह परमाणु संलयन द्वारा संचालित होता है और इतना विशाल है कि इसके अंदर दस लाख से अधिक पृथ्वी समा सकती हैं।सूरज सबसे बड़ा गर्म प्लाज़्मा का विशाल गोला है और ये nuclear fusion से ऊर्जा पैदा करता है, जिससे प्रकाश और गर्मी निकलती है, जो पृथ्वी पर जीवन का आधार है। इसकी चमक और प्रकाश से ही पृथ्वी पर जीवन संभव है। इसके रंग को हम पीला, लाल या नारंगी ही समझते आए हैं लेकिन सूर्य के वास्तविक रंग के बारे में जानकर हैरानी होगी।
किस रंग का है सूरज
सूर्य नहीं होता तो क्या होता?
सूरज का आकार निरंतर बदलता रहता है और सूर्य 11 साल के सक्रिय चक्र से गुजरता है। सूर्य अगर ना होता तो क्या होता…. यदि सूर्य न होता, तो पृथ्वी पर जीवन असंभव हो जाता क्योंकि गर्मी और प्रकाश के बिना इस ग्रह पर घना अंधकार छा जाता, तापमान गिरकर बहुत नीचे चला जाता और सभी महासागर और नदियां जम जातीं। पौधों में प्रकाश-संश्लेषण रुक जाता और ऑक्सीजन ही नहीं होता जिससे सभी जीवों की मौत हो जाती, इस तरह से पूरी पृथ्वी ही तहस नहस हो जाती और इस ग्रह पर जीवन खत्म हो जाता। सूर्य के गुरुत्वाकर्षण के बिना पृथ्वी अंतरिक्ष में भटकने लगती और अन्य ग्रहों या उल्कापिंडों से टकरा सकती थी।
किस रंग का है सूरज
सूर्य का रंग पीला, लाल या नारंगी है?
सूर्य के रंग को लेकर साधारणतया यह माना जाता है कि इसका रंग पीला, लाल या नारंगी होता है, क्योंकि अगर आग धधकती है तो उसका रंग नारंगी, लाल या पीला ही हमें दिखाई देता है। इस तरह से इस धधकते गोले का रंग भी हम पीला, लाल या नारंगी ही समझते हैं। सुबह और शाम, उगते और डूबते हुए देखें तो यह लालिमा लिए रहता है, दिन में यह नारंगी और फिर पीला दिखता है। वैसे तो इसको दिन में खुली आंखों से देखना संभव नहीं है, क्योंकि इसमें इतना प्रकाश होता है कि आपकी आंखें चौंधिया जाएंगी। वैज्ञानिक प्रमाण बताते हैं कि सूर्य का वास्तविक रंग, जैसा हम समझते हैं जानते हैं इससे बिल्कुल अलग है।
किस रंग का है सूरज
वास्तव में सूर्य का रंग क्या है?
सूर्य अपनी जगह पर स्थित है और पृथ्वी इसके चक्कर लगाती है, सूर्य लगभग समान मात्रा में बैंगनी, नीला, हरा, पीला और लाल सहित पूरे दृश्य स्पेक्ट्रम में प्रकाश उत्सर्जित करता है। शोधकर्ताओं के मुताबिक, जब इन सभी रंगों के तरंगदैर्घ्यों को मिलाया जाता है, तो परिणामी रंग सफेद दिखाई देता है। तो इस तरह से सफेद ही वह वास्तविक रंग है जो सूर्य को अंतरिक्ष से या पृथ्वी के वायुमंडल के ऊपर स्थित उपकरणों के माध्यम से देखने पर दिखाई देगा। सूर्य का स्पेक्ट्रम सतत है, जिसमें कोई भी एक रंग हावी नहीं है।
सूर्य पीला या नारंगी क्यों दिखता है?
हमारी आंखों और संस्कृति की भूमिका
मानव दृष्टि सूर्य के रंग को देखने के तरीके को और भी प्रभावित करती है। हमारी आंख सभी दृश्य तरंग दैर्ध्यों के संतुलित मिश्रण को सफेद रंग के रूप में देखती है। हालांकि, वायुमंडलीय प्रकीर्णन के कारण वितरण में मामूली बदलाव भी देखे गए रंग को पीले रंग की ओर झुका सकता है।
किस रंग का है सूरज
सूर्य के बारे में ये बातें जानते हैं आप?
- यदि सूर्य को वायुमंडलीय विकृति से मुक्त होकर कक्षा से सुरक्षित रूप से देखा जा सके, तो यह पीले या नारंगी रंग के बजाय एक चमकदार, चकाचौंध भरे सफेद तारे के रूप में दिखाई देगा। यद्यपि वायुमंडलीय प्रभाव और सांस्कृतिक परंपराएं पृथ्वी से सूर्य के प्रति मानवीय धारणा को आकार देती हैं, फिर भी अंतरिक्ष में इसका प्राकृतिक रंग सफेद ही रहता है।
- सूर्य के वास्तविक रंग के बारे में गलत धारणा को बनाए रखने में सांस्कृतिक कारक भी महत्वपूर्ण भूमिका निभाते हैं। पाठ्यपुस्तकों, कार्टूनों और चित्रों में अक्सर सूर्य को पीले या नारंगी रंग का दिखाया जाता है, जो लोगों के आकाश में दिखने वाली चीजों को देखने के तरीके को प्रभावित करता है और इस विश्वास को मजबूत करता है कि यही उसका वास्तविक रंग है।
- सूर्य के सबसे आंतरिक भाग (कोर) का तापमान लगभग 1.5 करोड़ डिग्री सेल्सियस है। इसकी बाहरी सतह (फोटोस्फीयर) का तापमान लगभग 5,500 डिग्री सेल्सियस होता है।
- सूर्य के केंद्र में नाभिकीय संलयन (Nuclear Fusion) की प्रक्रिया होती है, जहां हाइड्रोजन परमाणु मिलकर हीलियम बनाते हैं और भारी मात्रा में ऊर्जा छोड़ते हैं।
- वैज्ञानिकों के अनुसार, 2025 में सूर्य से शक्तिशाली सौर तूफान (Solar Flares) निकलने की संभावना है, जो पृथ्वी के संचार और बिजली ग्रिड को प्रभावित कर सकते हैं।
- सूर्य की वर्तमान आयु लगभग 4.6 अरब वर्ष है और यह अगले 5 अरब वर्षों तक चमकता रहेगा। सूर्य अपनी धुरी पर घूमता है, लेकिन यह एक ठोस पिंड नहीं है। इसकी भूमध्य रेखा (Equator) ध्रुवों की तुलना में अधिक तेज़ी से घूमती है।
