Colonel and son beaten
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कर्नल की पिटाई

नई दिल्ली:  कांग्रेस ने पटियाला में सेना के कर्नल पुष्पिंदर सिंह बाठ की कथित पिटाई के मामले को लेकर शनिवार को आरोप लगाया कि आम आदमी पार्टी की सरकार में पंजाब एक ‘‘पुलिस स्टेट’’ में तब्दील हो चुका है और जंगलराज कायम हो गया है। पार्टी प्रवक्ता आलोक शर्मा ने यह भी कहा कि इस घटना की न्यायिक जांच कराई जाए और इस जांच का हिस्सा सेना के कुछ अधिकारियों को भी बनाया जाए। शर्मा ने संवाददाताओं से कहा, ‘‘कांग्रेस पार्टी ‘जय जवान-जय किसान’ का नारा देती है, लेकिन आज पंजाब में आप सरकार ने ये नारा बदल कर ‘मारो जवान को, मारो किसान को’ कर दिया है। पंजाब पिछले 3 साल में ‘पुलिस स्टेट’ के रूप में तब्दील हो चुका है।’’ 

4 दिनों तक एफआईआर नहीं हुई दर्ज

उन्होंने कहा, ‘‘13-14 मार्च की रात कर्नल बाठ के साथ घटना हुई। कर्नल साहब रात एक बजे अस्पताल पहुंचे लेकिन सुबह 6 बजे उनका इलाज किया गया। यहां तक कि इस मामले में 4 दिन तक प्राथमिकी भी दर्ज नहीं हुई। कल राज्यपाल के हस्तक्षेप से पीड़ित परिवार को सुरक्षा देने की बात की गई।’’ शर्मा ने दावा किया कि आज हालात ये हैं कि एक फौजी पंजाब में अपने आप को सुरक्षित महसूस नहीं कर रहा है। उन्होंने कहा, ‘‘पंजाब में एक एसएसपी हैं- नानक सिंह, जिन्हें दो साल पहले भी पटियाला से हटा दिया गया था। यही नानक सिंह आरोपियों को बचाने का काम कर रहे हैं। ऐसे में इन्हें भी प्राथमिकी में नामजद करना चाहिए।’’ 

45 मिनट तक पीटा गया

कांग्रेस नेता के अनुसार, पीड़ित परिवार का आरोप है कि कर्नल और उनके बेटे को 45 मिनट तक पीटा गया, उनका ‘‘एनकाउंटर’’ करने की बात कही गई और पीड़ितों को छेड़खानी के फर्जी मामले में फंसाने की धमकी दी गई। शर्मा ने कहा, ‘‘हमारी मांग है कि सेवानिवृत्त न्यायाधीश के तहत न्यायिक जांच होनी चाहिए और इस जांच में सेना के वरिष्ठ अधिकारी भी शामिल किए जाएं। एसएसपी नानक सिंह का नाम प्राथमिकी में दर्ज किया जाए।’’ उन्होंने यह भी कहा, ‘‘हमारा मानना है कि इस पूरे घटनाक्रम में भगवंत मान व आप सरकार पूरी तरह से दोषी हैं।’’ 

कर्नल की पत्नी और पूर्व सैनिकों ने धरना दिया 

पंजाब के पुलिसकर्मियों पर मारपीट का आरोप लगाने वाले सेना के कर्नल की पत्नी ने शनिवार को पटियाला के उपायुक्त कार्यालय के बाहर धरना दिया। उनके साथ कई पूर्व सैनिक भी शामिल हुए। कर्नल के परिवार ने मामले की जांच सीबीआई से कराने की अपनी मांग दोहराई। साथ ही पटियाला के वरिष्ठ पुलिस अधीक्षक (एससपी) नानक सिंह के तबादले की भी मांग की। कर्नल की पत्नी ने एसएसपी पर प्राथमिकी दर्ज करने के उनके कई अनुरोधों पर कार्रवाई करने में विफल रहने का आरोप लगाया था। पटियाला की उपायुक्त प्रीति यादव द्वारा निष्पक्ष और पारदर्शी जांच का आश्वासन दिए जाने के बावजूद परिवार ने धरना खत्म करने से इनकार कर दिया और कहा कि जब तक उनकी मांगें पूरी नहीं हो जातीं, तब तक धरना जारी रहेगा। कर्नल ने 12 पंजाब पुलिसकर्मियों पर पार्किंग विवाद को लेकर उन पर और उनके बेटे पर हमला करने का आरोप लगाया है। 

क्या है मामला?

दरअसल, 13 और 14 मार्च की रात को जब कर्नल पुष्पिंदर सिंह बाठ और उनका बेटा पटियाला के सरकारी राजिंदर अस्पताल के पास सड़क किनारे स्थित एक होटल गए थे उसी वक्त मारपीट की यह घटना हुई। कर्नल के परिवार ने दावा किया कि जब वे दोनों अपनी कार के बाहर खड़े होकर खाना खा रहे थे, तो सादे कपड़ों में कुछ पुलिस अधिकारी उनके पास आए और कर्नल से कहा कि वे अपनी गाड़ी हटा लें ताकि वे अपनी गाड़ी खड़ी कर सकें। आरोप है कि जब कर्नल ने उनके इस असभ्य लहजे पर आपत्ति जताई तो एक अधिकारी ने उन्हें मुक्का मार दिया। अन्य पुलिसकर्मियों ने उनके और उनके बेटे के साथ मारपीट करना शुरू कर दिया। गुरुवार को कर्नल के परिवार ने पंजाब के राज्यपाल से मुलाकात की थी। इस पूरे मामले की सीबीआई जांच की मांग की थी। पंजाब पुलिस ने सोमवार को इस घटना के सिलसिले में 12 अधिकारियों को निलंबित कर दिया था। आरोपी पुलिस अधिकारियों के खिलाफ विभागीय जांच भी शुरू कर दी गई है। (इनपुट-भाषा)

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